मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ी पर्व सम्मान निधि योजना | Mukhyamantri Chhatisgarhi Parv Samman Nidhi Yojana

Mukhyamantri Chhatisgarhi Parv Samman Nidhi Yojana | मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ी पर्व सम्मान निधि योजना | मुख्यमंत्री आदिवासी पर्व सम्मान निधि योजना

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने 13 अप्रैल 2023 को मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ी पर्व सम्मान निधि योजना (Mukhyamantri Chhatisgarhi Parv Samman Nidhi Yojana) की शुरुआत की। इस योजना के द्वारा प्रदेश के त्योहारों को जिंदा रखने के लिए मुख्यमंत्री जी ने ₹10000 की राशि गांव के लिए घोषणा की है ताकि गांव इस राशि के द्वारा त्योहारों को मना पाए। जैसा कि समय के साथ साथ त्यौहर भी विलुप्त होते जा रहे हैं इसलिए मुख्यमंत्री जी प्रदेश की संस्कृति को जीवित रखने के लिए इन त्योहारों को मनाने के लिए प्रदेश के गांव को प्रेरित कर रहे हैं।

योजना के माध्यम से मुख्यमंत्री जी ने गांव में त्योहारों को मनाए जाने के लिए ₹10000 की धनराशि की पहली किस्त ₹5000 की जारी की है और इसके अंतर्गत उन 6111 गांव मे 3 करोड़ 5 लाख 55 हजार रुपए की धनराशि वितरित की है। इसी के साथ ही मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आदिवासी क्षेत्र के 14 जिलों में 3793 गांव को पांच ₹5000 की धनराशि के साथ कुल 1 करोड़ 89 लाख 65 हजार रुपए की राशि वितरित की है।

प्रदेश में अलग-अलग त्योहार मनाए जाते हैं लेकिन समय के साथ-साथ यह सभी त्यौहार मनाने में लोग काफी कंजूसी दिखा रहे हैं और समय के साथ-साथ त्यौहार विलुप्त होते जा रहे हैं इसलिए मुख्यमंत्री जी संस्कृति को जीवित रखने के लिए तथा त्योहारों को मनाने के लिए गांव में 10 -10 हजार रुपए की राशि देने का फैसला किया है जिस की पहली किस्त 5-5 ₹4 की जारी कर दी गई है।

Mukhyamantri Chhatisgarhi Parv Samman Nidhi Yojana

Key Highlights of Mukhyamantri Chhtisgarhi Parv Samman Nidhi Yojana

योजना का नाम मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ी पर्व सम्मान निधि योजना
किसके द्वारा शुरू की गईमुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल द्वारा
वर्ष2023
राज्यछत्तीसगढ़
लाभार्थीराज्य ग्राम पंचायत

मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ पर्व सम्मान निधि योजना का उद्देश्य

इस योजना का मुख्य उद्देश्य प्रदेश में ग्राम पंचायतों को त्योहार मनाने के लिए प्रेरित करना है जिसके अंतर्गत राज्य सरकार इन ग्राम पंचायतों को ₹10000 की राशि प्रदान करेगी ताकि यह ग्राम पंचायतें प्रदेश में त्योहार मनाने के लिए अपनी रुचि ले और पुरानी संस्कृति को जीवित रखा जा सके।

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के अनुसार प्रदेश में पुरानी संस्कृति और त्यौहारों को जीवित रखना अति अनिवार्य है इससे प्रदेश का विकास होगा और आने वाली पीढ़ियां भी इस को जीवित रख सकेंगे इसलिए उन्होंने प्रदेश में तीज, हरेली, भक्ति महतारी कर्मा जयंती, छेरछेरा, विश्व आदिवासी दिवस तथा छठ इत्यादि त्योहारों के लिए अवकाश भी घोषित किया है।

पर्व सम्मान निधि योजना के लाभ तथा विशेषताएं

इस योजना के माध्यम से प्रदेश में त्योहारों को जीवित रखा जा सकेगा और प्रदेश की ग्राम पंचायतों को लगातार त्यौहार मनाने के लिए प्रेरित किया जा सकेगा। जैसा कि हम देख रहे हैं समय के साथ साथ लोग त्योहारों को भूल रहे हैं और आने वाले समय में इनकी ना के बराबर मनाने की क्षमता हो जाएगी जिससे हम अपनी संस्कृति और विरासत से काफी दूर होते हुए चले जाएंगे लेकिन समय के साथ साथ हमें अपनी विरासत और संस्कृति को बरकरार रखना चाहिए इसलिए मुख्यमंत्री जी ने इस योजना के द्वारा प्रदेश के त्योहारों को जीवित रखने का फैसला लिया है।

जिसके लिए उन्होंने इन त्योहारों के लिए अवकाश निर्धारित किया है और पंचायतों को ₹10000 की धन राशि वर्षिक तौर पर देने का फैसला लिया है इसके अंतर्गत 6111 ग्राम पंचायतों को कुल 3 करोड़ 5 लाख 55 हजार रुपए की धनराशि को पहली किस्त के रूप में वितरित किया है।

इसके अलावा भी राज्य सरकार ने आदिवासी क्षेत्र के लिए मुख्यमंत्री आदिवासी परब सम्मान निधि योजना की शुरुआत की है और इस योजना के अंतर्गत 3793 ग्राम पंचायतों में 1 करोड़ 89 लाख 65 हजार रुपए की धनराशि पहली किस्त के रूप में जारी की है।

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